केम्फोरा | Camphora

केम्फोरा | Camphora

दर्द के बारे में सोचने पर वह घट जाता है (हेलीबो; वृद्धि – कल्के-फास्फो, हेलोनि, आक्जै-एसिड) । शारीरिक एवं मानसिक रूप से दुर्बल और चिड़चिड़े स्वभाव वाले व्यक्ति, शीतल पवन के प्रति अत्यन्त असहिष्णु (हीपर, काली म्यूरि, सोरा)।

शारीरिक क्षतिग्रस्तता के फलस्वरूप लगने वाले मानसिक आघात के कुफल, चर्म-तल ठण्डा, चेहरा पीला, अधर नीले; गहन अवसाद (profound prostration)। स्पर्श करने पर त्वचा ठण्डी प्रतीत होती है, किन्तु किसी प्रकार का ओड़ना सहन नहीं कर सकता ओड़े हुए वस्त्रों को फेंक देता है (मेडौर, सीकेल)। अल्पतम स्पर्श के प्रति भी सम्पूर्ण शरीर अत्यन्त सम्वेदनशील ।

जिह्वा ठण्डी, थुलथुली, कम्पायमान वमन एवं अतिसार के आकस्मिक दौरे, नाक ठण्डी और नुकीली; अधीरता और बेचैनी; त्वचा एवं श्वास ठण्डा (बेराट्र, जैट्रो) । सामान्य प्रकार की विसूचिका एवं सांघातिक विसूचिका की प्रारम्भिक अवस्थायें उम्र, चिरस्थायी ठण्डक (बेरा ) ।

शरीर की अत्यधिक शीतलता के साथ जीवनी-शक्ति की आकस्मिक एवं पूर्ण अवसादी अवस्था, रक्तसंलयी शीतावस्था में बहुतायत से प्रयुक्त की जाने वाली एक औषधि सांघातिक सविराम-ज्वर (बेराट्र); नाड़ी दुर्बल, बाह्य रूप क्षुद्र, जिसका बोध अत्यन्त कठिनाई के साथ होता है ।

रोमान्तिका (measles ) एवं रक्तज्वर (scarlatina ) में जब दाना बाहर नहीं निकलता; साथ ही पीला अथवा ठण्डा नीला और हिप्पोक्रेट जैसा मुर्शाया हुआ चेहरा; बच्चा वस्त्र नहीं ओढ़ता (सीकेल) । रोमांतिका की समस्त अवस्थायें ।

सम्बन्ध

  • कंम्फर जड़ी बूटियों से तैयार की जाने वाली लगभग सभी प्रकार की औषधियों के प्रभाव को नष्ट कर देती है; इनमें तम्बाकू, प्रूसिक-एसिड तथा विषाक्त कुकुरमुत्ता भी शामिल हैं; इसे रोगी के कमरे में किसी भी रूप में रखने की इजाजत नहीं दी जानी चाहिये ।
  • तुलनीय – कार्यों-वेजि, ओपि, बेरा, सीकेल ।

रोगह्रास – वर्तमान रोग के बारे में सोचने पर गर्म हवा; ठण्डे पानी का सेवन ।

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