नकसीर का होम्योपैथी इलाज

नकसीर का होम्योपैथी इलाज

नाक से खून बहना | चोट लगने, क्रोध, अथवा किसी और बीमारी की जटिलता के रूप में यह रोग हो सकता है 1

1. जब लड़कियों को मासिक स्राव की बजाय नाक से खून आए ।

  • पल्साटिला 30 दिन में 3 बार

2. नकसीर की राम बाण दवा ।

  • ब्रायोनिया Q, दिन में 3 बार

3. जब सुबह उठने पर, मुंह धोने से नकसीर फूटे या खाना खाने के बाद नाक से खून आए ।

  • अमोनियम कार्ब 30, दिन में 3 बार

4. चोट लगने के कारण नाक से खून आए ।

  • आर्निका 30 या 200, दिन में 3 बार दें

5. नाक से खून आए जो जल्दी न जमता हो ।

  • फॉस्फोरस 30, दिन में 2-3 बार

6. जब बच्चा नाक छील कर खून निकाल लेता हो ।

  • ऑरम ट्रिफाइलम 30, दिन में 3 बार

7. जब नाक से चमकीला लाल खून आए ।

  • मिलिफोलियम Q, दिन में 3 बारें दें

8. जब नाक से कालापन लिए हुए खून आए ।

  • हैमामेलिस Q दिन में 3 बार दें

9. जब नाक में छाले होने की वजह से खून आए ।

  • कैल्केरिया पिकरेटा 3X, दिन में 3 बार

10. जब नाक से खून रात में आए और नाक में ही जमा हो जाए ।

  • मर्क सौल 30, दिन में 3 बार

12. काली खांसी, स्कारलेटिना, मियादी बुख़ार, डिफ्थीरिया के दौरान नाक से गाढ़ा खून आए ।

  • एसिड म्यूर 30, दिन में 3 बार

13. जब मुंह धोने से या सुबह के समय नाक से खून आए ।

  • काली कार्ब 30, दिन में 3 बार

14. जब सर्दी जुकाम के दौरान नाक से खून आए ।

  • इपिकैक 30, दिन में 3 बार

15. गर्मी या धूप में रहने से नकसीर आए । नाक खून जाने से राहत मिले ।

  • लैकेसिस 30, दिन में 3 बार

`16. बायोकैमिक औषधि

  • फैरम फॉस 6X, में दिन 3 बार

नकसीर के दौरान सिर पर ठंडा पानी डालना या बर्फ का इस्तेमाल करना फायदेमंद है ।

नाक के अंदर मांस का बढ़ना (Nasal Polypus)

यह रोग प्रायः एक नथुने में होता है; बढ़ा हुआ मांस नर्म और चिपका होता है, कभी-कभी इसमें मवाद भी पैदा हो जाती है। यदि दोनों नथुनों में हो जाता है तो नाक से सांस लेने में कष्ट होता है और रोगी मुंह से सांस लेने लगता है।

1. नेज़ल पॉलिप की मुख्य दवा।

  • फॉरमिका रूफा 1X या 3X, दिन में 3-4 बार

2. यदि नाक से खून आए, हरा, पीला, मवाद निकले।

  • फॉस्फोरस 30, दिन में 3 बार

3. रोगी जिस करवट लेटता है उधर का सांस रूक जाता है। पूरी नाक मांस के बढ़ने से बंद हो जाए ।

  • टैयूक्रियम 6, दिन में 3 बार

4. नाक में मांस बढ़ने के साथ-साथ किसी भी गंध का पता न लगे ।

  • कैल्केरिया कार्ब 30, दिन में 3 बार

5. नेल पॉलिप की मुख्य दवा ।

  • लैम्ना माइनर Q, दिन में 3 बार

6. मांस बढ़ने के साथ-साथ साइनस की शिकायत, बुरी गंध वाला पतला हरा स्राव; गंध का महसूस न होना ।

  • थूजा 30, या 200 आवश्यकतानुसार

ऐडिनौएड (Adenoid)

ट्यूबरकुलाइनम या बैसिलिनम 1M या 10M की एक खुराक महीने

में एक बार दें और 3-4 बार दोहराएं ।

आमतौर पर यह समझा जाता है कि ऐडिनौएड बिना ऑपरेशन के ठीक नहीं हो सकते। यह विचार निराधार है । होम्योपैथी में ऐडिनौएड के मूल कारण जानकर धातुगत (constitutional) औषधि देने से मरीज पूर्ण रूप से ठीक हो जाता है; और रोग भी समाप्त हो जाता है ।

Leave a Comment

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Scroll to Top